जानिए क्या होता है यूनिकॉर्न स्टार्टअप, भारत में कौन – कौन से यूनिकॉर्न स्टार्टअप हैं
आज का दौर का स्टार्टअप का दौर है। देश में रोजाना कई सारे नए स्टार्टअप्स शुरू हो रहे हैं। लेकिन इनमें से कई स्टार्टअप जल्दी बंद हो जाते हैं तो वही स्टार्टअप देश के यूनिकॉर्न स्टार्टअप बन जाते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि यूनिकॉर्न स्टार्टअप क्या होते हैं और कैसे कोई स्टार्टअप यूनिकॉर्न स्टार्टअप बनता है। यदि आप नहीं जानते हैं तो हम इस लेख में यूनिकॉर्न स्टार्टअप के बारे में बताने वाले हैं कि यूनिकॉर्न स्टार्टअप क्या होता है और भारत में यूनिकॉर्न स्टार्टअप की संख्या कितनी है।
क्या होते हैं यूनिकॉर्न स्टार्टअप
यूनिकॉर्न एक ऐसी स्टार्टअप कंपनी को कहते हैं, जिनकी वैल्यू 1 बिलियन डॉलर से अधिक यानी साढ़े 7 हजार करोड़ रूपये से ज्यादा की हो चुकी है। इसके अलावा जब एक प्राइवेट स्टार्टअप कंपनी की वैल्यू एक बिलियन डॉलर की हो जाती है या फिर उससे भी ज्यादा हो तो उसे यूनिकॉर्न स्टार्टअप कहा जाता है। वही हमें ऐसे भी समझ सकते हैं जिस तरह कुछ लोग मिलकर एक कंपनी चालू करते हैं और फिर धीरे-धीरे उसमें पैसा बढ़ता है और वह कंपनी बढ़ने लगती है। जब इस प्राइवेट स्टार्टअप की वैल्यूएशन एक बिलियन डॉलर या फिर उससे ज्यादा हो जाती है तो वह यूनिकॉर्न बन जाती है।
भारत में यूनिकॉर्न की संख्या
भारत देश में स्टार्टअप की संख्या काफी कम थी। लेकिन पिछले कुछ सालों में देश में स्टार्टअप की संख्या में काफी तेजी बढ़ोत्तरी हुई है। देश में रोजाना लगभग हजारों से लाखों स्टार्टअप शुरू होते हैं। लेकिन इनमें कुछ ही स्टार्टअप देश में यूनिकॉर्न के मुकाम तक पहुंच पाते हैं। आज के दौर में भारत में यूनिकॉन स्टार्टअप की संख्या 100 है। जो पूरी दुनिया में तीसरी सबसे ज्यादा है। इस साल 2022 में अभी तक 15 यूनिकॉर्न बन चुके हैं। भारत से ज्यादा अमेरिका में 487, चीन में 301 यूनिकॉर्न स्टार्टअप हैं।
भारत के कुछ यूनिकॉर्न स्टार्टअप
ओयो- यह एक हॉस्पिटैलिटी इंडस्ट्री है जो सस्ते दामों में रूम प्रोवाइड करती है। यह 21 साल के रितेश अग्रवाल के द्वारा 2013 में बनाया गया था। इसका मुख्यालय गुरुग्राम, हरियाणा में है। आज इसकी वैल्यू 7 बिलियन डाॅलर है।
बायजूस- यह एक एज्युकेशन टेक्नोलॉजी के आधार रखने वाली कंपनी है, जिसका संस्थापक “बीजू रवीन्द्रन” है। इस ऐप का इस्तेमाल दुनिया भर में 30 मिलियन से भी ज्यादा स्टूडेंट्स करते हैं। आज इसकी वैल्यू 22 बिलियन डॉलर है।
बिग बास्केट- यह भारत का सबसे बड़ा ग्रोसरी दुकान है जिसे हरि मेनन, वी.एस. सुधाकर, विपुल पारेख, अभिनय चौधरी और वी.एस. रमेश ने मिलकर 2011 में शुरू किया था। इसकी वैल्यू 2.2 बिलियन डाॅलर है।
स्विग्गी- यह एक बहुत ही मूल्यवान फूड ऑनलाइन डिलीवरी ऐप है जो मिनटों में फूड डिलीवर कर देता है। इसका स्थापना 2014 में नंदन रेड्डी, श्रीहर्ष मेजेस्टी और राहुल जैमिनी के द्वारा किया गया था। इसकी वैल्यू 7.7 बिलियन डाॅलर है।
अनएकेडमी- यह एक ऐसी कंपनी है जो 2020 में यूनिकॉर्न स्टार्टअप की सूची में शामिल हो गई थी। बस पांच सालों में यह ऑनलाइन लर्निंग प्लेटफार्म है जो ज्यादातर सरकारी नौकरी और विशेष करके यूपीएससी का तैयारी करवाता है। इसकी वैल्यू 3.44 बिलियन डॉलर हैं।
ओला कैब्श – कैब कंपनी ओला कैब्श भी इस सूची में शामिल है। 6 बिलियन अमेरिकी डॉलर के मौजूदा वैल्यू के साथ ओला कैब्स सूची में अपनी जगह बनाती हैं। ओला कैब्स की स्थापना वर्ष 2010 में हुई थी। इस स्टार्टअप के संस्थापक भाविश अग्रवाल और अंकित भाटी हैं। फर्म का मुख्यालय बैंगलोर, कर्नाटक में स्थित है।
उड़ान – एक B2B ई-कॉमर्स कंपनी है जिसकी वर्तमान में वैल्यू 2.5 बिलियन डॉलर है। उड़ान भारत का सबसे तेजी से बढ़ने वाला स्टार्टअप है, जिसने यूनिकॉर्न का दर्जा हासिल किया है। उड़ान का संचालन वर्ष 2016 में स्थापित हाइवलूप टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड द्वारा किया जाता है। कंपनी के संस्थापक आमोद मालवीय, वैभव गुप्ता और सुजीत कुमार हैं।
ज़ेरोधा – इस भारतीय वित्तीय कंपनी का वर्तमान में वैल्यू 3 बिलियन डाॅलर है। ज़ेरोधा एक यूनिकॉर्न स्टार्टअप है, जिसकी स्थापना वर्ष 2010 में हुई थी। कंपनी के संस्थापक नितिन कामथ और निखिल कामथ हैं।
ओपन – लघु एवं कुटीर उद्योग व्यापारियों (एसएमई) के लिए नियो बैंकिंग प्लेटफॉर्म ‘ओपन’ ने आईआईएफएल की अगुवाई वाले ताजा फंडिंग राउंड में 5 करोड़ डॉलर जुटाकर 1 अरब डॉलर से अधिक का बाजार मूल्यांकन हासिल कर लिया है।इसके साथ ही ओपन भारत की 100वीं यूनिकॉर्न स्टार्टअप कंपनी बन गई।
ड्रीम 11 – फैंटेसी क्रिकेट पर आधारित ड्रीम 11 कंपनी। वर्तमान में इसकी वैल्यू 8 बिलियन डॉलर है। इसकी स्थापना भाविथ सेठ और हर्ष जैन ने की थी। देश – विदेश में इसके करोड़ो यूजर्स है।
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